
पश्चिम बंगाल की ममता बनर्जी नीत सरकार को उस समय तगड़ा झटका लगा जब कलकत्ता उच्च न्यायालय ने भारतीय जनता पार्टी (BJP) को राज्य में प्रस्तावित रथयात्रा की अनुमति दे दी। आपको बता दे की अदालत ने प्रदेश BJP को 22, 24 और 26 दिसम्बर को राज्य के 3 हिस्सों में रथयात्रा की अनुमति दे दी।
न्यायालय ने अपने फैसले में यह भी टिप्पणी की कि रथयात्रा निकाले जाने वाले स्थानों पर सुरक्षा इंतजामों के लिए पुलिस को तकरीबन 12 घंटों का नोटिस दिया जाना पर्याप्त है। इस बीच, उच्च न्यायालय के आदेश पर BJP ने अपनी प्रतिक्रिया में कहा कि न्यायालय ने हमारे लोकतांत्रिक अधिकारों को बरकरार रखा है।
BJP ने ये भी कहा कि न्यायालय का फैसला राज्य सरकार के कुशासन के बारे में रिपोर्टों की पुष्टि करता है। इससे पहले मंगलवार को उच्च न्यायालय ने प्रस्तावित रथयात्रा के मसले को लेकर सुनवाई के दौरान राज्य सरकार और भारतीय जनता पार्टी (BJP) के नेताओं के बीच गत 15 दिसम्बर को यहां पुलिस मुख्यालय में हुई बैठक के वीडियो फुटेज प्रस्तुत करने के लिए मंगलवार को संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए थे।
न्यायालय की ओर से रथयात्रा की तीन संभावित तिथियां बताने के लिए कहे जाने पर BJP ने 22, 24 और 26 दिसम्बर की तिथियां प्रस्तावित की थी। गौरतलब है कि पश्चिम बंगाल सरकार ने 15 दिसम्बर को BJP की प्रदेश इकाई को रथयात्रा की अनुमति देने से इन्कार कर दिया था।
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